चढ़त पंजाब दी,
बाड़मेर, (राजू चारण):विश्वविख्यात तनोटराय मंदिर 11 सितंबर,आज से दो साल पहले जयपुर से डॉ गुलाब सिंह द्वारा श्रीकरणी दंडवत यात्रा मातेश्वरी तनोटराय के दरबार की शुरुआत की गयी। डॉ सिंह ने बताया कि कलयुग में चारण समाज के लोगों को तप, त्याग और अपने मनोबल को ऊंचा उठाने के लिए कठिन साधनाओ की बहुत ज्यादा जरूरत है। पिछले दो साल में दो बार विश्व विनाशकारी कोराना भड़भड़ी, पचास पचपन डिग्री सेल्सियस की गर्मी और आठ दस सेल्सियस सर्दियों में भी मातेश्वरी तनोटराय मंदिर तक यात्रा करते हुए आज़ दर्शन करके मातेश्वरी तनोटराय का आशीर्वाद प्राप्त किया जाएगा। यह दंडवत यात्रा आप सब भक्तो के आशिर्वाद से ही संभव हुआ है, इस दंडवत यात्रा काल में कई दौर आए,कई तरह के लोगों से मिलने की खुशी हुई तो कई बार अपनों से बिछुड़ने का दर्द भी हुआ।
डॉ सिंह ने बताया कि श्रीकरणी दंडवत यात्रा सांयकाल में आदि शक्ति माँ आवड़ के दरबार तनोटराय मातेश्वरी मंदिर के मुख्य द्वार में प्रवेश करेगी ,ततपश्चात सांयकाल मातेश्वरी तनोटराय के दरबार में जागरण होगा।रविवार को प्रातः काल मातेश्वरी तनोटराय के दरबार में हवन का आयोजन कर 9:15 बजे माँ आवड़ के चरणों में हाजिरी लगाएंगे फिर मन्दिर प्रांगण में माँ देवल बाईसा जूनागढ़, गुजरात के सानिध्य में डॉ सिंह का स्वागत समारोह होगा। अशोक भाई गढ़वी ने बताया कि देवल बाईसा दिल्ली से रविवार को मातेश्वरी तनोटराय दर्शन करने के दौरान ही डॉ गुलाब सिंह का श्रीकरणी माता भक्त वत्सल दंडवत यात्रा में शामिल सहयोगियों का स्वागत किया जाएगा।
स्वागत के बाद सांयकालीन में मां के दरबार में फिर रात्रि जागरण का आयोजन होगा। सोमवार सुबह मातेश्वरी तनोटराय की आरती कर यात्रा वापसी पनराजजी के मंदिर की और प्रस्थान करेगी, पनराजजी मन्दिर से पनोधर राय मन्दिर में दर्शनार्थ हाजरी लगाएगी, पनोधर राय से काळे-डूंगर राय होते हुए जैसलमेर में स्वांगियाजी के दरबार में दर्शनार्थ हाजरी लगाएंगे ,यंहा से भादरिया राय मन्दिर से गड़ियाला होते हुए सुवाप की ओर यात्रा का अंतिम पड़ाव होगा ।दंडवत यात्रा के दौरान हाकिम दान चारण संतोष नगर बीकानेर, लक्ष्मण सिंह चारण जयपुर,विक्रम सिंह शैतान सिंह नगर, नारायण सिंह फतेह सिंह, सवाई सिंह, गणपत सिंह,चैन सिंह सांकड़ा, रणवीर सिंह दौसा, रामबक्स ओर गौपाल भाईजी जयपुर से मातेश्वरी तनोटराय दर्शनार्थ
दंडवत यात्रा करने के दौरान सहयोग करते रहे।