Share on Google+
Share on Tumblr
Share on Pinterest
Share on LinkedIn
Share on Reddit
Share on XING
Share on WhatsApp
Share on Hacker News
Share on VK
Share on Telegram
April 2, 2025

Loading

चढ़त पंजाब दी

लुधियाना, 6 अगस्त ,(सत पाल  सोनी ) : आज से मकान मालिकों को नौकरों और किरायेदारों की जांच के लिए सांझ केन्द्रों में जाने की ज़रूरत नहीं पड़ेगी क्योंकि पुलिस कमिश्नरेट लुधियाना ने पूरे राज्य के लिए एक मोबाइल ऐप विकसित की है जिससे मकान मालिक /मालिक अपने मोबाइल को ईस्तेमाल करते हुए इस ऐप के द्वारा जांच के लिए रजिस्टर कर सकेंगे और फीस अदा कर सकेंगे। यह जानकारी आज यहाँ डीजीपी पंजाब पुलिस दिनकर गुप्ता ने दी।
दिनकर गुप्ता जो पुलिस विकास प्रोजेक्टों की एक श्रृंखला का उद्घाटन करने के लिए शुक्रवार को लुधियाना में थे, ने राज्य में अपराध को कंट्रोल करने के लिए उठाए जा रहे ठोस कदमों के हिस्से के तौर पर मकान मालिकों द्वारा नौकरों, किरायेदारों और कर्मचारियों की जल्द और समय पर सत्यापन करने के लिए एक मोबाइल प्लेटफार्म लांच किया।इस विशेष ऐप्लीकेशन के चलते लोगों को सांझ केंद्र या पुलिस स्टेशन जाने की ज़रूरत नहीं होगी बल्कि वह अपने मोबाइल फोनों के प्रयोग से ही अपने घर से उनकी जांच करवा सकते हैं। डीजीपी ने लोगों को नौकरों का पुलिस सत्यापन करवाने की अपील की। उन्होंने कहा कि यदि नौकर कोई अपराध करके फ़रार हो जाता है तो ऐसी स्थिति में सत्यापन के दौरान पेश किये गए विवरण पुलिस को दोषी का पता लगाने में सहायता करेंगे।
इस संबंधी अधिक जानकारी देते हुए लुधियाना के पुलिस कमिश्नर राकेश अग्रवाल ने बताया कि ऐप को ख़ास तौर पर नौकरों द्वारा बढ़ रही चोरी की घटनाओं के मद्देनज़र विकसित किया गया है। उन्होंने कहा कि नेपाल के नौकरों के सत्यापन के लिए इस ऐप में कई विशेष सुविधाएं शामिल हैं।कमिश्नर ने कहा कि इस ऐप के लिए मकान मालिकों को खुद के और नौकर दोनों के विवरणों समेत आवेदक के विवरण फोटो सहित और आई.डी सबूत, घरेलू सहायता के विवरण फोटो सहित, आई.डी प्रूफ़, रिहायश का सबूत और अन्य विवरण चाहे वह परिसर में रहते हैं या बाहर रहते हैं जमा करवाने होंगे। इसके अलावा घरेलू सहायता के पारिवारिक सदस्यों बारे जानकारी और घरेलू सहायता के कम-से-कम दो रेफरल की जानकारी भी बतानी होगी।
उन्होंने बताया कि विवरण भरने के बाद आवेदक को प्रामाणिकता के लिए एक ओ.टी.पी. प्राप्त होगा और जिसके बाद आवेदक पेमेंट पेज पर पहुँच जायेगा। उन्होंने बताया कि नौकरों की पुलिस वेरीफिकेशन की इस सेवा के लिए लोगों से 200 रुपए की बहुत ही मामूली फीस ली जायेगी। इसी तरह मालिक अपने कर्मचारियों के सत्यापन के लिए भी इस ऐप्लीकेशन का प्रयोग कर सकते हैं। उन्होंने आगे कहा की ‘पीपीसांझ ऐप’ को गूगल प्ले स्टोर से डाऊनलोड किया जा सकता है।
इस मौके पर डीजीपी दिनकर गुप्ता ने लुधियाना कमिश्नरेट के पुलिस अधिकारियों के साथ अपराध समीक्षा बैठक भी की। लुधियाना के पुलिस कमिश्नर राकेश अग्रवाल ने उनको शहर के क्षेत्र में अपराध के तरीकों बारे अवगत करवाया। श्री अग्रवाल ने डीजीपी को अपराध को कंट्रोल करने के लिए पुलिस द्वारा किये जा रहे विभिन्न उपायों बारे भी बताया।
उन्होंने कहा कि राज्य में होने वाले विधानसभा चुनाव के मद्देनज़र अगले छह महीने पुलिस के लिए बहुत चुनौतीपूर्ण हैं। डीजीपी ने सरहदी राज्य में शान्ति और सांप्रदायिक सदभावना भंग करने वाली देश विरोधी ताकतों की घिनौनी योजनाओं को रोकने के मद्देनज़र सभी अधिकारियों को चौकस रहने के लिए भी कहा। उन्होंने पुलिस को 24 घंटे पुलिस नाके पर तैनात रहने और व्यक्तियों और वाहनों की चैकिंग में तेज़ी लाने के निर्देश दिए। डीजीपी ने अधिकारियों को यह भी कहा कि वह रिहायशी क्षेत्र में जाकर मानवीय ख़ुफ़िया जानकारी प्राप्त करें, स्रोतों को विकसित करें, थानों की मैपिंग करें और हिस्ट्री शीटरों, ज़ेल से बाहर अपराधियों और अन्य संदिग्ध व्यक्तियों पर नज़र रखें।
इस दौरान सालों से पुलिस स्टेशनों में ज़ब्त किये वाहनों का निपटारा करने के लिए डीजीपी ने रूल बुक भी जारी की जो संबंधित सी.आर.पी.सी. और पंजाब पुलिस ऐक्ट का पालन करके ऐसे वाहनों के निपटारा करने में मार्गदर्शन करेगी। डी.जी.पी. ने बताया कि रूलबुक पी.पी.एस. अधिकारी गुरदेव सिंह द्वारा तैयार की गई है।

71330cookie-checkडीजीपी दिनकर गुप्ता द्वारा नौकरों, किरायेदारों की ऑनलाइन जांच के लिए मोबाइल ऐप की शुरुआत
error: Content is protected !!